Stop Loss क्या है और स्टॉपलॉस कैसे लगाते हैं ?

शेयर बाजार में निवेश या ट्रेडिंग करते समय सबसे महत्वपूर्ण बात यह होती है कि आप अपने निवेश को अधिक से अधिक सुरक्षा प्रदान करें। कभी-कभी शेयरों या अन्य वित्तीय उपकरणों के बाजार मूल्य में उतार-चढ़ाव होते हैं, और आप नुकसान से बचने के लिए एक रणनीति की तलाश में रहते हैं। इस स्थिति में Stop Loss (स्टॉप लॉस) एक महत्वपूर्ण उपकरण साबित हो सकता है। यह एक प्रकार की सुरक्षा रणनीति है, जो आपके निवेश की रक्षा करने में मदद करती है और आपको नुकसान से बचाने का प्रयास करती है।

इस लेख में हम स्टॉप लॉस (Stop Loss) के बारे में विस्तार से जानेंगे, यह क्या है, यह क्यों महत्वपूर्ण है, और आप इसे किस प्रकार अपने ट्रेड्स में लागू कर सकते हैं।


Stop Loss क्या है ?

Stop Loss (स्टॉप लॉस) एक प्रकार का आदेश (order) होता है जिसे आप अपने ब्रोकर को देते हैं ताकि आपकी स्थिति (position) पर नुकसान सीमित किया जा सके। इसे एक "नुकसान कटौती" रणनीति के रूप में समझा जा सकता है। जब कोई स्टॉक या वित्तीय उपकरण एक निर्धारित मूल्य तक गिर जाता है, तो स्टॉप लॉस अपने आप उस स्टॉक को बेचने का आदेश ब्रोकर को भेजता है, ताकि आप उस गिरावट से अधिक नुकसान न उठाएं।

आसान शब्दों में, स्टॉप लॉस एक प्रकार का सुरक्षा बैरियर होता है, जो नुकसान को नियंत्रित करने के लिए काम करता है। यह आपको यह सुनिश्चित करने में मदद करता है कि यदि बाजार आपके खिलाफ जाता है तो आपका नुकसान एक सीमित स्तर तक हो।

उदाहरण:

मान लीजिए आपने किसी स्टॉक को ₹100 पर खरीदा है और आप नहीं चाहते कि यदि यह ₹90 से नीचे जाए तो आपको अधिक नुकसान हो। आप इस स्थिति में ₹90 पर एक स्टॉप लॉस सेट कर सकते हैं। यदि स्टॉक की कीमत ₹90 तक गिर जाती है, तो यह स्वचालित रूप से आपकी स्थिति को बेचने का आदेश ब्रोकर को भेज देगा और आपका नुकसान ₹10 प्रति शेयर पर सीमित हो जाएगा।


Stop Loss के प्रकार

स्टॉप लॉस के विभिन्न प्रकार होते हैं, जिनका उपयोग ट्रेडर्स अपनी ट्रेडिंग रणनीति के अनुसार करते हैं। इनमें प्रमुख प्रकार निम्नलिखित हैं:

1. फिक्स्ड स्टॉप लॉस (Fixed Stop Loss)

फिक्स्ड स्टॉप लॉस में आप एक निश्चित मूल्य (price level) तय करते हैं, जिस पर स्टॉक को बेचा जाएगा। यह सबसे सामान्य प्रकार का स्टॉप लॉस है। उदाहरण के लिए, यदि आपने किसी स्टॉक को ₹100 पर खरीदा है और आप ₹90 पर स्टॉप लॉस सेट करते हैं, तो यदि स्टॉक ₹90 तक गिरता है, तो यह स्वचालित रूप से ब्रोकर को बिक्री का आदेश भेजेगा।

2. ट्रेलिंग स्टॉप लॉस (Trailing Stop Loss)

ट्रेलिंग स्टॉप लॉस थोड़ा और उन्नत प्रकार का होता है। इसमें स्टॉप लॉस ऑर्डर एक गतिशील (dynamic) तरीके से चलता है और कीमत की दिशा में बढ़ता जाता है। इसका मतलब यह है कि जैसे ही स्टॉक की कीमत बढ़ती है, वैसे-वैसे स्टॉप लॉस का स्तर भी बढ़ता जाता है। यह आपके लाभ को सुरक्षित करने के लिए काम करता है जब स्टॉक की कीमत ऊपर जाती है, और यदि कीमत गिरती है, तो यह पहले से सेट की गई स्टॉप लॉस स्तर पर आकर बचे हुए मुनाफे को सुरक्षित कर लेता है।

3. स्टॉप लिमिट ऑर्डर (Stop Limit Order)

स्टॉप लिमिट ऑर्डर एक विशेष प्रकार का स्टॉप लॉस होता है जिसमें स्टॉप लॉस को एक निश्चित सीमा (limit) के साथ सेट किया जाता है। जब स्टॉक एक निश्चित स्तर तक गिरता है, तो यह ब्रोकर को बिक्री का आदेश भेजता है, लेकिन केवल तब ही यदि स्टॉक की कीमत सीमा (limit) के भीतर होती है। यह आमतौर पर उस स्थिति में इस्तेमाल किया जाता है जब आप चाहते हैं कि बिक्री केवल एक तय सीमा के भीतर ही हो, न कि उसके नीचे।


Stop Loss क्यों जरूरी है?

स्टॉप लॉस के कई फायदे हैं, जिनकी वजह से यह एक आवश्यक उपकरण बन जाता है, विशेष रूप से उन लोगों के लिए जो सक्रिय रूप से ट्रेडिंग करते हैं। यहां कुछ कारण दिए गए हैं कि क्यों स्टॉप लॉस का उपयोग करना जरूरी है:

1. नुकसान को सीमित करना (Limiting Losses)

स्टॉप लॉस का सबसे बड़ा फायदा यह है कि यह नुकसान को सीमित करता है। शेयर बाजार में उतार-चढ़ाव होना सामान्य है, और कभी-कभी बाजार आपके खिलाफ जा सकता है। स्टॉप लॉस यह सुनिश्चित करता है कि जब तक बाजार आपकी उम्मीद के मुताबिक नहीं चलता, आप एक निश्चित नुकसान से अधिक न उठाएं।

2. भावनाओं से मुक्त निर्णय (Emotional Free Decision)

जब बाजार आपके खिलाफ जाता है, तो अक्सर निवेशक भावनाओं से प्रभावित होकर तर्कहीन निर्णय लेते हैं, जैसे कि और अधिक नुकसान उठाने के डर से स्थिति को न बेचना। स्टॉप लॉस यह सुनिश्चित करता है कि निर्णय पहले से निर्धारित हो और आपको भावनाओं में बहकर किसी स्थिति को अधिक समय तक न रखना पड़े।

3. स्वचालित (Automated)

स्टॉप लॉस एक स्वचालित आदेश होता है, जो आपके निर्धारित मूल्य स्तर तक पहुंचने पर अपने आप सक्रिय हो जाता है। इसका मतलब है कि आपको हर समय अपने ट्रेड पर नजर रखने की जरूरत नहीं होती, क्योंकि स्टॉप लॉस आपके लिए निर्णय ले लेता है।

4. पोर्टफोलियो की सुरक्षा (Protecting Portfolio)

स्टॉप लॉस आपकी पूरी निवेश रणनीति का हिस्सा बन सकता है और यह आपके पोर्टफोलियो को बड़े नुकसान से बचाने में मदद करता है। इससे आपका पोर्टफोलियो स्थिर रहता है, और आप ज्यादा जोखिम नहीं उठाते।


Stop Loss कैसे लगाते हैं?

स्टॉप लॉस लगाना एक आसान प्रक्रिया है, लेकिन इसके लिए सही रणनीति और अच्छे निर्णय की आवश्यकता होती है। स्टॉप लॉस लगाने के लिए निम्नलिखित कदम हैं:

1. स्टॉक की वर्तमान कीमत का विश्लेषण करें

सबसे पहले, स्टॉक की वर्तमान कीमत को देखना आवश्यक है, ताकि आप यह निर्धारित कर सकें कि आप कहां स्टॉप लॉस सेट करना चाहते हैं। सामान्यतः, स्टॉप लॉस को उस मूल्य पर सेट किया जाता है, जहां से स्टॉक की कीमत नीचे गिरने पर आप अधिक नुकसान नहीं उठाना चाहते।

2. अपनी जोखिम क्षमता तय करें

आपको यह तय करना होगा कि आप एक ट्रेड पर कितना नुकसान सह सकते हैं। उदाहरण के लिए, यदि आपने किसी स्टॉक को ₹100 पर खरीदा है और आप ₹90 पर स्टॉप लॉस सेट करना चाहते हैं, तो आप यह तय कर रहे हैं कि ₹10 का नुकसान आपके लिए स्वीकार्य है।

3. स्टॉप लॉस ऑर्डर लगाना

अब जब आपने स्टॉप लॉस मूल्य निर्धारित कर लिया है, तो आप ब्रोकर प्लेटफॉर्म पर स्टॉप लॉस ऑर्डर सेट कर सकते हैं। यह एक साधारण आदेश होता है जिसमें आप स्टॉक का नाम, खरीद मूल्य और स्टॉप लॉस मूल्य सेट करते हैं। प्लेटफॉर्म आपको यह आदेश देना सुविधाजनक बनाता है।

4. स्टॉप लॉस को ट्रेलिंग करें (यदि आवश्यक हो)

अगर आप ट्रेलिंग स्टॉप लॉस का उपयोग करना चाहते हैं, तो आपको पहले से तय किया गया प्रारंभिक स्टॉप लॉस मूल्य सेट करने के बाद इसे सक्रिय कर सकते हैं। यह स्टॉप लॉस अपने आप कीमत बढ़ने के साथ-साथ बढ़ता जाएगा, और जब कीमत गिरती है तो यह अपने निर्धारित स्तर पर रुक जाएगा।


Stop Loss के कुछ सुझाव

  1. बहुत तंग स्टॉप लॉस न लगाएं: स्टॉप लॉस को इतना तंग (tight) न लगाएं कि केवल थोड़ी सी कीमत में गिरावट होने पर वह सक्रिय हो जाए। इससे आपका स्टॉक जल्दी बेच सकता है और फिर वापस बढ़ सकता है।

  2. समय के साथ स्टॉप लॉस को एडजस्ट करें: जैसे-जैसे बाजार आपके पक्ष में चलता है, वैसे-वैसे स्टॉप लॉस को एडजस्ट करें। इसे अपने मुनाफे को सुरक्षित करने के लिए बढ़ा सकते हैं।

  3. ज्यादा जोखिम न लें: स्टॉप लॉस को इस तरह से सेट करें कि आपका नुकसान एक सीमित और स्वीकार्य स्तर पर हो, जिससे आप ज्यादा जोखिम न लें।


निष्कर्ष

स्टॉप लॉस एक अत्यधिक प्रभावी उपकरण है जो आपको नुकसान से बचने में मदद करता है और बाजार के उतार-चढ़ाव से सुरक्षित रखता है। यह व्यापार में सुरक्षा की भावना पैदा करता है और आपको ट्रेडिंग के दौरान एक नियंत्रित और व्यवस्थित रणनीति अपनाने का अवसर प्रदान करता है। स्टॉप लॉस का उपयोग करके आप अपने निवेश को जोखिम से बचा सकते हैं और संभावित लाभ को अधिकतम कर सकते हैं।

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